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धरती आबा जनजाति ग्राम उत्कृष्ट अभियान; ग्वालियर जिले के 10 ग्रामों का चयन, इन गाँवों में 15 से 30 जून तक विशेष शिविरों का होगा आयोजन

कलेक्टर ने जनजाति के हर पात्र व्यक्ति तक योजनाओं का लाभ पहुँचाने के दिए निर्देश , अभियान का उद्देश्य क्षेत्र के अंतिम व्यक्ति तक लाभों की पहुँच सुनिश्चित करना है

ग्वालियर। भारत सरकार के जन जातीय कार्य मंत्रालय द्वारा धरती आबा जनजाति ग्राम उत्कृष्ट अभियान के अंतर्गत चिन्हित ग्रामों में जागरूकता कार्यक्रम एवं विशेष शिविरों का आयोजन किया जायेगा। ग्वालियर जिले में इस अभियान के तहत 10 गाँवों का प्रारंभिक चयन किया है। इन ग्रामों में 15 से 30 जून तक अभियान बतौर शिविर लगाए जायेंगे। अभियान का उद्देश्य आदिवासी क्षेत्र के अंतिम व्यक्ति तक सरकारी योजनाओं और व्यक्तिगत लाभों की पूर्ण पहुँच सुनिश्चित करना है। 

कलेक्टर रुचिका चौहान ने धरती आबा अभियान के तहत आयोजित होने जा रहे शिविरों के माध्यम से सहरिया जनजाति के प्रत्येक पात्र व्यक्ति तक सरकार की मंशा के अनुरूप योजनाओं का लाभ पहुँचाने के निर्देश विभागीय अधिकारियों को दिए हैं। उन्होंने कहा है कि सभी संबंधित विभागों के अधिकारी आपसी समन्वय बनाकर यह सुनिश्चित करें कि कोई भी पात्र व्यक्ति योजना के लाभ से छूटे नहीं। 

ग्वालियर जिले के इन ग्रामों का हुआ है चयन 

जिन गाँवों में 50 फीसदी या 500 से अधिक आदिवासी आबादी है वह धरती आबा के लिये चयनित किए हैं। ग्वालियर जिले में 10 गाँवों का प्रारंभिक चयन हुआ है। इन ग्रामों में विकासखंड घाटीगाँव के अंतर्गत सहरिया जनजाति बहुल ग्राम चराई श्यामपुर , घेंगोली, बरहाना, कैत, दुरसेंडी, घाटीगांव व उम्मेदगढ़, विकासखंड डबरा का आदिवासी बहुल ग्राम सिरोल व लिधौरा एवं भितरवार विकासखंड का आदिवासी बहुल ग्राम सिलहा शामिल है।  

शिविरों में यह सेवाएँ उपलब्ध कराई जायेंगीं 

धरती आबाअभियान के तहत 15 जून से 30 जून तक लगने जा रहे शिविरों में विभिन्न योजनाओं के तहत हितग्राही चिन्हित करने के साथ-साथ योजनाओं का लाभ भी दिलाया जायेगा। शिविरों में वयोवृध कार्ड, आधार कार्ड, राशन कार्ड, जाति प्रमाण पत्र, निवास प्रमाण पत्र व आयुष्मान भारत कार्ड बनाए जायेंगे। साथ ही प्रधानमंत्री किसान सम्मान निधि, किसान क्रेडिट कार्ड, प्रधानमंत्री उज्जवला गैस कनेक्शन, प्रधानमंत्री जनधन खाता, जीवन बीमा, वृद्धावस्था, विधवा व दिव्यांग पेंशन का लाभ दिलाया जायेगा। इसके अलावा मनरेगा, मुद्रा लोन, पीएम विश्वकर्मा योजना, मातृ एवं शिशु रक्षा के लिए टीकाकरण व आंगनबाड़ी का लाभ आदि सेवाएं भी संबंधित विभागों को समन्वय बनाकर दिलाई जायेंगी। 

अभियान में स्वास्थ्य, खाद्य ग्रामीण विकास, समाज कल्याण, कृषि, राजस्व पंचायत और अन्य विभागों का समन्वय किया गया है। कॉमन सर्विस सेंटर (सीएससी ) के माध्यम से आधार ई-केवाईसी और दस्तावेजीकरण की सेवाएं भी प्रदान की जायेंगी। आंगनवाड़ी कार्यकर्ता और स्थानीय स्वयंसेवकों की मदद से लाभार्थियों की पहचान की जा रही है। साथ ही विभाग द्वारा व्यापक प्रचार प्रसार कराया जा रहा है। सभी शिवरों की निगरानी के लिए एक विशेष रिपोर्टिंग प्रणाली विकसित की है।